Kanpur weather news: उत्तर-प्रदेश में बिजली गिरने से 52 लोगो की जान चली गयी। वही कानपुर के शिवाला में भी मंदिर के ऊपर बिजली गिरी। इस साथ ही प्रयागराज और प्रतापगढ़ ज़िले में आसमान कहर बरपा रहा है। यहां वज्रपात से 30 लोगों की मौत मात्र दो दिनों के अंदर हो गई है। वहीं बात करें पूरे यूपी की यह संख्या बढ़कर 52 पहुंच जाती है। वही अचानक वज्रपात बढ़ती घटनाओं के पीछे मौसम विज्ञानियों का मत है कि असमान हवाओं और बादलों में बड़े बर्फ के क्रिस्टलों की ज्यादा संख्या इसके लिए जिम्मेदार हो सकती है।
वही मौसम विशेषज्ञ डॉ.यस.यन.सुनील पांडेय माने तो बारिश नहीं होने के कारण धरती से गर्म हवाएं हल्की होकर बादलों से टकरा रही है और बिजली गिर रही है। दूसरा बारिश की स्थिति में किसान खेतों के बजाय कहीं ओट में रहते हैं। बारिश नहीं होने के कारण वह खेतों में चले जा रहे हैं और इस दौरान बादलों में असमान हवाओं की वजह से ऋणात्मक और धनात्मक चार्ज बन रहा है। जिससे बिजली गिरती है और असुरक्षित खुले क्षेत्र में मौजूद लोग इसकी चपेट में आ रहे हैं।
डॉ.यस.यन.सुनील पांडेय का कहना है कि कुछ बादलों पर पॉजिटिव चार्ज हो जाता है। तो कुछ पर निगेटिव चार्ज। आसमान में जब दोनों तरह के चार्ज वाले बादल एक दूसरे से टकराते हैं तो लाखों वोल्ट की बिजली उत्पन्न होती है। कभी-कभी इस तरह उत्पन्न होने वाली बिजली इतनी अधिक होती है कि धरती तक पहुंच जाती है। इस घटना को बिजली गिरना कहा जाता है।
क्यों फिर गर्जना सी आवाज होती है।
डॉ.यस.यन.सुनील पांडेय का कहना है कि आकाश में इस तरह बिजली पैदा होने के बाद उन बादलों के बीच जो जगह होती है वहां ये बिजली की धारा बहने लगती है।इससे भारी पैमाने पर चमक पैदा होती है। इसी वजह से बिजली आसमान में चमकती हुई दिखती है।चूंकि बिजली की धारा बहने लगती है लिहाजा बहुत बड़े पैमाने पर गरमी भी पैदा होती है. इससे वायु फैलती है और इसके करोड़ों कण आपस में एक दूसरे से टकराने लगते हैं। ये थंडर यानि गर्जना का स्वर पैदा करते हैं।
डॉ.यस.यन.सुनील पांडेय का कहना है कि पहले चमक दिखती है और फिर आवाज क्यों आती है।बिजली का चमकना और गड़गड़ाहट साथ ही होती है लेकिन हमें बिजली की चमक पहले नजर आती है. उसकी वजह ये भी है कि प्रकाश की गति ध्वनि से बहुत ज्यादा तेज यानि 30,0000 किलोमीटर प्रति सेकेंड होती है जबकि ध्वनि की गति केवल 332 मीटर प्रति सेकेंड होती है।